श्रीनगर। मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने रविवार को पत्थरबाजों को ईद का तोहफा देते हुए उनके लिए आम माफी का एलान किया। इसका फायदा करीब 1200 युवकों को मिलेगा। उनके खिलाफ आपराधिक मामले वापस लिए जाएंगे। यह माफी उन पत्थरबाजों के लिए नहीं है, जो आगजनी और सरकारी संपत्ति को नुकसान पहुंचाने व लूटमार करने में शामिल रहे हैं। ऐसे में करीब 100 युवक माफी से वंचित रहेंगे।
श्रीनगर में पत्रकारों द्वारा यह पूछे जाने पर कि क्या यह माफी आगे भी मिलेगी, तो उमर ने कहा कि यह योजना सिर्फ रविवार यानी 28 अगस्त तक के लिए ही है। इसके बाद कोई पत्थरबाजी करता हुआ या विधि व्यवस्था को नुकसान पहुंचाते पकड़ा जाता है तो उसके खिलाफ कानून के मुताबिक कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने कहा कि माफी वह युवक भी हासिल कर सकते हैं, जिनके खिलाफ बीते ल्ल एक साल से विभिन्न थानों में पत्थरबाजी के मामले दर्ज हैं और आज तक फरारी की जिंदगी जी रहे हैं। ऐसे युवकों के मां-बाप अदालत से उनकी जमानत लें और इसके बाद आम माफी का लाभ देने का आग्रह करें।
मुख्यमंत्री ने कहा कि बीते साल करीब 1300 युवकों के खिलाफ पत्थरबाजी, आगजनी और लूटमार के मामले दर्ज किए गए थे। इनमें 100 के करीब युवक ही लूटमार और आगजनी में शामिल थे। उन्होंने कहा कि कई लोग दावा करते हैं कि पत्थरबाजों से राज्य की जेलें और हवालात भरे हुए हैं। लेकिन सच यह है कि सिर्फ 35 नागरिक सुरक्षा कानून(पीएसए) के तहत बंद हैं, जबकि 70 न्यायिक हिरासत में हैं। अलगाववादियों और प्रमुख विपक्षी दल पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी द्वारा गत वर्ष हुए प्रदर्शनों को शांतिपूर्ण करार दिए जाने की मुख्यमंत्री ने निंदा की। उन्होंने कहा कि इन तथाकथित अमनपसंद प्रदर्शनकारियों ने 76 सरकारी भवनों को जलाया था, जबकि 38 सरकारी इमारतों को नुकसान पहुंचाया था। पथराव करने वालों ने 16 निजी इमारतों को आग लगाने के अलावा 18 अन्य इमारतों को क्षति पहुंचाई थी। इन लोगों ने 37 सरकारी वाहनों समेत 62 वाहनों को जलाया था, जबकि 160 वाहनों को नुकसान पहुंचाया था।
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